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सोमवार, जून 07, 2010

हस्त रेखा एवं रोग (भाग:1)

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हस्त रेखा एवं रोग (भाग:1)

व्यक्ति कि हथेली में विभिन्न प्रकार कि रेखाऎ, पर्वत एवं उन पर उभर कर आने वाले तरह तरह के चिह्न के बदलाव से व्यक्ति को होने वाली बीमारियों का अंदाजा लगाया जासकता हैं।

हर ग्रह के कुछ निश्चित चिह्न होते हैं। इन चिह्नो का प्रभाव हथेली में ग्रह के पर्वत पर होंने के अनुरुप  शुभ-अशुभ फल कि प्राप्ति होती हैं।

* हमे शक्ति प्रदान करने वाली सूर्य रेखा एवं स्वास्थ्य रेखा सूर्य पवर्त के समीप पाई जाती हैं।

* यदि हथेली में शनि एवं सूर्य का संबंध हो जाए तो व्यक्ति कब्ज से पीडा होती हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में हृदय रेखा कमजोर होती हैं एवं भाग्य रेखा एकदम स्पष्ट हो, आयु रेखा से जुडी हुई कोई रेखा कनिष्ठिका के तीसरे पर्व तक जाती हो, या मंगल पर्वत पर क्रॉस का चिह्न हो, या उभरे हुए चंद्र पर्वत पर झंडे का चिह्न हो तो व्यक्ति बदहजमी, अपच, गैस इत्यादि रोग से पीड़ित होता हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में गोल घेरे का ग्रहों के पर्वतों पर होना शुभ माना गया हैं, लेकिन गोल घेरे का रेखाओं पर होना अत्यंत अशुभ माना गया हैं। यदि गोल घेरे का हृदय रेखा पर होने से व्यक्ति को आंखो कि समस्या हो सकती हैं। मंगल पर्वत पर गोल घेरा होने से भी नेत्र संबंधित पीडा होती देखी गई हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में शनि पर्वत पर या आयु रेखा के अंत में क्रॉस या जालीदार रेखा का होना व्यक्ति को असाध्य रोग होने का संकेत देती हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में स्वास्थ्य रेखा टूटी फूटी हो, या हृदय रेखा और मस्तक रेखा एक दूसरे समीप आ गई हो तो व्यक्ति को श्वास रोग होने की आशंका अधिक रहती हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा, हृदय रेखा और मस्तक रेखा के अंत में जालीदार रेखाएं हों या पर्वतों पर जालीदार रेखाएं हों, क्रॉस का चिह्न हो, हथेली पर काले या नीले रंग के धब्बे या बिंदु हों, नाखून गहरे नीले रंग के हों, नाखून टूटने वाले हों या अस्वाभाविक आकर के हों, या अंगुलियां मुड़ी हुई हों, या हथेली कि त्वचा नरम हो, हाथ हमेशा भीगा हुआ सा रहता हों, तो व्यक्ति जीवन भर किसी न किसी रोग से पीडित होकर अस्वस्थ रहता हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा, हृदय रेखा और मस्तक रेखा तीनों एक जगह मिली हुई हो, या अंगुलियों के नाखूनों में खड़ी रेखाए हो, या नखून किनारों से टूटे हुए हों, नाखूनों के मूल पर चन्द्रमा काले रंगके हो या विलुप्त होगये हो, या शनि पर्वत पर जालीदार चिह्न का होना, व्यक्ति को गठिया रोग होने का संकेत देता हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा पर क्रॉस होना किसी दुर्घटना ग्रस्त होने का संकेत होता हैं।

* आयु रेखा के अंत में काला धब्बा होना गंभीर चोट लगने का सूचक हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा पर काला बिंदु हो तो यह किसी बड़े रोग की सूचना देता हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा अंत में दो मुखी हो जाए तो, व्यक्ति को मधुमेह होने का संकेत होता हैं।

* जिस व्यक्ति के हाथ में आयु रेखा चौड़ी हो, या उसका रंग पीला हो, या जंजीरनुमा हो तो व्यक्ति का स्वास्थ्य हर समय खराब रहता हैं।

* आयु रेखा का अचानक टूट जाना व्यक्ति की किसी बीमारी के कारभ अचनाक मृत्यु का संकेत माना गया हैं।
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